
25 स्टूडेंट्स ने 2 महीने की प्रैक्टिस बाणभट्ट लिखित नाटक का रूपांतरण योगेश त्रिपाठी का रहा। नाटक के निर्देशक संजय उपाध्याय कहते हैं कि यह मुख्यरूप से संस्कृत की कृति है। इसे विश्व का पहला उपन्यास कहा जाता है। 7वीं शताब्दी की इस काल्पनिक कथा पर कभी नाटक तैयार नहीं किया गया। यह इस कृति पर पहला नाटक है। 2 घंटे 20 मिनट के इस नाटक में ड्रामा स्कूल के 25 छात्रों ने अभिनय किया है।
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from दैनिक भास्कर https://www.bhaskar.com/mp/bhopal/news/today-in-the-city-7th-century-creation-of-banabhatta-5897606.html
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